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पा‍किस्‍तान एयरफोर्स के जेट पहुंचे कश्‍मीर

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26 फरवरी को हुई बालाकोट एयर स्‍ट्राइक के बाद इंडियन आर्मी पाकिस्‍तान की ओर से आने वाली किसी प्रतिक्रिया के लिए पूरी तरह से तैयार थी। सेना के सूत्रों की ओर से इस बात की जानकारी दी गई है। सूत्रों की मानें तो एयरस्‍ट्राइक की प्‍लानिंग के समय ही इस बात की योजना भी बना ली गई थी कि अगर पाकिस्‍तान सेना ने किसी भी तरह का दुस्‍साहस दिखाने की कोशिश की तो फिर इंडियन आर्मी उसका जवाब देगी। सेना, पाक आर्मी से निबटने के लिए पूरी तरह से तैयार थी।

जनरल रावत ने खुद दी जानकारी

यह बात खुद आर्मी चीफ जनरल बिपिन रावत ने उस समय बताई जब वह सोमवार को रिटायर हो रहे ऑफिसर्स के सम्‍मान में आयोजित एक कार्यक्रम में थे।जनरल रावत के मुताबिक उन्‍होंने केंद्र सरकार को यह बात बता दी थी कि सेना पाकिस्‍तान की सीमा में घुसकर उन्‍हें जवाब देने के लिए तैयार है। 26 फरवरी को इंडियन एयरफोर्स (आईएएफ) के मिराज 2000 फाइटरर जेट्स पाकिस्‍तान के खैबर पख्‍तूनख्‍वा प्रांत के बालाकोट में दाखिल हुए थे। इने जेट्स ने जैश-ए-मोहम्‍मद के ठिकानों को निशाना बनाया था।

बालाकोट हवाई हमला, 14 फरवरी को हुए पुलवामा आतंकी हमले का जवाब था। बालाकोट के अगले दिन पाकिस्‍तान एयरफोर्स के जेट्स जम्‍मू कश्‍मीर के राजौरी के सुंदरबनी में दाखिल हुए थे। इन जेट्स का मकसद भारतीय सैन्‍य ठिकानो को निशाना बनाना था। लेकिन आईएएफ के जेट्स ने उनकी योजना को पूरी तरह से विफल कर दिया। सेना के एक ऑफिसर की तरफ से बताया गया, ‘सरकार जब दूसरे विकल्‍पों को परख रही थी तो उसने आर्मी चीफ से सेना की तैयारियों के बारे में पूछा था। आर्मी चीफ ने सरकार को इस बात की जानकारी दी थी कि हम किसी भी तरह के दुस्‍साहस से निबटने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं।’

हर हालात के लिए तैयार सेना

इस ऑफिसर ने यह भी बताया कि सेना प्रमुख ने सरकार को इस बात की सूचना भी दी थी कि साल 2016 में उरी आतंकी हमले को देखते हुए सेना ने किसी भी आपातकाल के हालात से निबटने के लिए जरूरी गोला-बारूद बाद इकट्ठा करर लिया है। उरी आतंकी हमले के बाद सेना ने पीओके में सर्जिकल स्‍ट्राइक को अंजाम दिया था। उरी हमले में 19 जवान शहीद हो गए थे।